कलेक्टर का स्टिंग ऑपरेशन: ग्राहक बन दुकानों पर पहुंचे RI और पटवारी, MRP से ज्यादा रेट पर शराब बेचने का खुलासा, आबकारी एक्ट के तहत कार्रवाई की अनुशंसा


कुमार इंदर, जबलपुर। कलेक्टर ने ओवर रेटिंग पर शराब बेचने वाले कारोबारियों को बेनकाब किया है। कलेक्टर दीपक कुमार सक्सेना के इस एक्शन से सरकार की आंखों में धूल झोंककर ग्राहकों को लूटने वाले शराब कारोबारियों की असलियत सामने आ गई। लंबे समय से जबलपुर में शराब कारोबारियों के द्वारा ग्राहकों को महंगी दर पर शराब बेचने के आरोप लगते रहे हैं लेकिन अब इसका पुख्ता प्रमाण सामने आया है।

50 और 100 रुपये तक महंगी दर पर शराब

लगातार मिल रही शिकायतों को आधार बनाकर जिला प्रशासन ने रेवेन्यू अधिकारियों की टीम बनाकर जब शराब दुकानों की जांच कराई तो पता चला कि एक-एक दुकान में 20 से लेकर 50 और 100 रुपये तक महंगी दर पर शराब बेची जा रही हैं। शराब कारोबारियों के इस खेल का खुलासा करने के लिए प्रशासन के कई टीमें मैदान में उतारी गई। राजस्व निरीक्षक यानी आरआई से लेकर पटवारियों की टीमें बनाई गई और उन्हें ग्राहक बनाकर एक-एक दुकान पर भेजा गया। सबसे दिलचस्प बात तो यह है कि ग्राहक बनकर शराब खरीदने गए सरकारी मुलाजिमों ने पूरा पेमेंट ऑनलाइन किया गया ताकि पूरे सुबूत हाथ में हो।

राजस्व निरीक्षक (आरआई) और पटवारी की टीम

दुकानों से शराब की बोतलें खरीदी गई और पेमेंट गूगल पे/फोन पे जैसे यूपीआई से किया गया। जबलपुर के अलग-अलग इलाकों की दो दर्जन दुकानों में एमआरपी से ज्यादा कीमत पर शराब और बीयर बेचने का खुलासा हुआ है। जांच रिपोर्ट के मुताबिक राजस्व निरीक्षक और पटवारी की एक टीम सबसे पहले रानीताल भाजपा कार्यालय के सामने स्थित नरेंद्र कुमार रजक की शराब की दुकान पर पहुंची। यहां टीम ने सिमरन ऑफ 180 ML और मैजिक मोमेंट 375 ML देने की बात की जिन पर एमआरपी क्रमशः 325 और 460 रुपए अंकित था लेकिन दुकान से यह शराब की बोतल 385 और 460 रुपए में दी गई।

बोतल के बदले 20 रुपए ज्यादा की वसूली

इसी तरह रानीताल की शराब दुकान में 60 रुपए ज्यादा लिए गए। रानीताल ईदगाह के पास की शराब दुकान से भी दो बोतल खरीदी गई और यहां भी 10 रुपये ज्यादा की वसूली की गई। एक टीम आकर्ष अग्रवाल की चंडाल भाठा की दुकान पर पहुंची यहां शराब की बोतल के बदले 20 रुपए ज्यादा की वसूली की गई। इसके अलावा आरआई और पटवारी की एक टीम दमोह नाका बस स्टैंड की दुकान पर पहुंची यहां बैगपाइपर और 8PM शराब की बोतल के बदले 50 और 20 रुपए की अतिरिक्त वसूली की गई।

इन दुकानों पर भी पहुंची प्रशासन की टीम

विजयनगर शराब की दुकान, दीनदयाल बस स्टैंड और बलदेव बाग की दीपमाला सिंह के नाम से संचालित दुकान में भी 60 से लेकर 74 और 50 रुपये तक ज्यादा कीमत पर शराब बेची जा रही है। चेरीताल से लेकर ओरिया कटंगी बाईपास की दुकान में भी बोतल में 50 से लेकर 100 रुपए की ज्यादा वसूली का खुलासा हुआ है। टीम देसी अंग्रेजी कंपोजिट शराब दुकान व्हीकल मोड़ के सामने रांझी, गांधी व्यायाम शाला के पास रांझी, बड़ा पत्थर रांझी, महावीर कंपाउंड सदर मोहनिया की देसी और अंग्रेजी शराब की दुकान, ओमती, दीनदयाल चौक और बिलहरी के डी मार्ट के सामने संचालित शराब दुकानों पर भी पहुंची।

बीयर की कीमतों में भारी अंतर मिला

यहां भी किंगफिशर, हंटर, मैजिक मोमेंट, हैवर्ड्स फाइव थाउजेंड जैसे बीयर की कीमतों में भारी अंतर मिला। दुकानों से प्रशासन की टीमों ने 20 से लेकर 60 रुपए तक ज्यादा कीमत चुका कर बीयर की बोतलें खरीदी। जांच में खुलासा हुआ कि शहर के अलग-अलग इलाकों में संचालित दुकानों में एमआरपी से कई गुना ज्यादा कीमतें वसूली जा रही है। सच्चाई के सामने आने के बाद टीमों ने अपनी रिपोर्ट बनाकर एसडीएम को सौंप दी है। ग्राहकों से प्रिंट रेट से ज्यादा कीमत पर शराब बेचने वालों के खिलाफ मध्यप्रदेश आबकारी अधिनियम के तहत कार्यवाही की अनुशंसा की गई है।

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