DGP ने पुलिस अफसरों के साथ की बैठक: अपराध नियंत्रण, ट्रैफिक स्थिति समेत इन मुद्दों की चर्चा, राजा रघुवंशी हत्याकांड मामले में कही ये बात


चंकी बाजपेयी, इंदौर. डीजीपी कैलाश मकवाना रविवार को इंदौर पहुंचे और कंट्रोल रूम में पुलिस अधिकारियों की साथ बैठक की. इस दौरान उन्होंने अपराध नियंत्रण, ट्रैफिक स्थिति और थानों की कार्यप्रणाली पर चर्चा की. इसके अवाला उन्होंने QR कोड स्कैन सिस्टम का लोकार्पण किया.

मीडिया से चर्चा के दौरान डीजीपी ने राजा रघुवंशी हत्याकांड को लेकर कहा कि आपके कई लोगों के घर होंगे जो कि खुद मकान मालिक भी हाेंगे. आप ही के खुद के घर मे किराएदार से मिलने कौन आ रहा है और कौन जा रहा है आप ही उसका हिसाब नहीं रख पाते हैं. तो इतना बड़ा शहर उसमें कौन कैसे अचानक से रात में आकर रुका. वह प्रेक्टिकल रुप से पॉसिबल नहीं है. जब तक कि उसका कोई सुराग ना मिले. लव जिहाद के मामलों में उन्होंने बीट अफसरों को कॉलेजों, स्कूलों और होस्टलों की मॉनिटरिंग बढ़ाने के निर्देश दिए.

साइबर अपराध को लेकर कही ये बातें

डीजीपी ने कहा कि साइबर अपराध से केवल जागरूकता के माध्यम से ही बचा जा सकता है. इसके लिए शहरी नहीं ग्रामीण क्षेत्रों में भी पुलिस लगातार अभियान चल रही है. ताकि लोगों में साइबर अपराधियों से बचने के लिए जागरूकता रहे और इसके एक नहीं कई उदाहरण हैं. साइबर अपराधियों पर कार्रवाई कर करोड़ों रुपए भी वापस फरियादियों को दिलवाए गए हैं.

फिर शुरू होगी डायल 100 की सुविधा

डीजीपी ने कहा कि डायल 100 की सुविधा 2015 में लांच हुई थी. पुलिस एक कॉल पर मौके पर पहुंचती थी. लेकिन 2020 में ये स्कीम समाप्त हो गई थी. ऐसे में डायल हंड्रेड की सुविधा पर विराम लग गया था. लेकिन एक बार फिर से सुविधा को जनहित देसी मानते हुए 2025 में मुख्यमंत्री ने फिर से शुरू करने के निर्देश दिए हैं. इसके बाद प्रकिया दोबारा से क्रियान्वित की जा रही है. इस प्रक्रिया में बेहतर अफसर की टीम काम कर रही है और इसकी रूपरेखा तैयार की जा रही है. जिसको लेकर ई टेंडर भी जारी किए गए. लेकिन वे धरातल पर नहीं आ पाए. इसी साल जनवरी के अंत में उसे दोबारा शुरू करने के लिए हमने एक टीम को काम दिया. इसके बाइ ई-टेंडर किया. अब वर्क ऑर्डर पिछले महीने जारी कर दिया है. हमारी कोशिश है कि 15 अगस्त से पूरी फोर्स नई डायल 100 स्कीम की गाड़ियों के साथ देखने को मिलेगी.

हर थाने लगेंगे क्यूआर कोड

क्यूआर कोड हर थाने में लगेगा. पुलिस को लेकर आम जनता का क्या अनुभव रहा वे अपना फीडबैक उस पर दे पाएंगे. इसमें तीन तरह की प्रोसेस है. जिसमें अपनी जानकारी भरकर पुलिस स्टाफ को स्टार रेटिंग दे पाएंगे. फिर एसीपी और डीसीपी उसको मॉनिटर करेंगे. उस पर जो भी फीडबैक आएगा उसको लेकर स्क्रूटनी कर कार्रवाई भी होगी.

बनाए जाएंगे नए थाने

डीजीपी ने कहा कि जल्द परिसीमन कर इंदौर में नए थाने बनाए जाएंगे. वहीं थानों के सीमा विवाद को लेकर कहा कि कमिश्नरेट थाने से जुड़े ग्रामीण क्षेत्रों को भी शामिल किया जाएगा. इसके लिए समीक्षा कर किस तरीके से बेहतर कर सकते हैं उसे पर काम किया जाएगा.

जनसुनवाई पर कही ये बात

जनसुनवाई को लेकर उन्होंने कहा कि मैं जब भोपाल में रहता हूं तो कोशिश करता हूं कि पुलिस मुख्यालय पहुंचकर खुद जनसुनवाई में उपस्थित रहकर वहां आने वाले लोगों की समस्या का निरीक्षण करूं. बहुत कुछ अफसर की इच्छा शक्ति पर भी निर्भर करता है. उन्हें भी इस और ध्यान देने की जरूरत है. अधीनस्थों के भरोसे छोड़ने से व्यवस्थाएं कई बार बिगड़ जाती हैं इसको लेकर भी दिशा निर्देश दिए हैं.

नक्सली क्षेत्र में कर रही पुलिस बेहतर कार्य

प्रदेश के नक्सली क्षेत्र के साथी पड़ोसी राज्य छत्तीसगढ़ के साथ मिलकर बेहतर कार्य किया जा रहा है. आने वाले कुछ वर्षों में नक्सलवाद पूरी तरह से समाप्त करने की ओर काम हो रहा है.

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