पॉवर गॉशिप: साहब पर मेहरबानी बिना कार्रवाई के हुए रिटायर… अध्यक्ष को उलझाने के लिए विधायक जी का कॉलोनी फॉर्मूला… खूबसूरती दिखाओ, राशि नहीं… नए इंचार्ज से मिलने के लिए पहले पीए से मुलाकात


(सुधीर दंडोतिया की कलम से)

साहब पर मेहरबानी बिना कार्रवाई के हुए रिटायर

मध्य प्रदेश में एक सीनियर आईएएस अफसर पर ईओडब्ल्यू में डेढ़ साल पहले दर्ज हुई शिकायत पर कोई कार्रवाई नहीं हुई और साहब इसी महीने की आखिरी तारीख को रिटायर भी हो गए. साहब के ऊपर ढाई सौ करोड़ के भ्रष्टाचार में 25 करोड़ रुपये रिश्वत मांगने के आरोप लगे थे. इसकी शिकायत पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने EOW में की थी. साहब मध्य प्रदेश के वो केसरी निकले कि शिकायत के बाद साहब का बाल भी बांका नहीं हुआ. ऐसे में मध्य प्रदेश की जांच एजेंसियों पर सावल खड़े हो रहे हो रहे है कि जांच एजेंसियां छोटी मछलियों पर तो शिकंजा कस रही है पर बड़े मगरमच्छों पर मेहरबान है! इस मामले एक और सीनियर अफसर भी कटघरे में है!

अध्यक्ष को उलझाने के लिए विधायक जी का कॉलोनी फॉर्मूला

बात मालवा-निमाड़ के एक जिला मुख्यालय की है. जहां की अध्यक्ष को उलझाने के लिए विधायक जी विवादित जमीन पर कॉलोनी फॉमूला लेकर आ गए. कॉलोनी की परमिशन लगभग तैयार ही थी, अब अध्यक्ष जी की ओर से अनुमति जारी होने की देरी थी कि मामले को भांपकर अध्यक्ष जी ने परमिशन देने से साफ इनकार कर दिया. ऐसा कर अध्यक्ष जी कानूनी पचड़ों से तो बच गए हैं, लेकिन अपने पसंदीदा जिलाध्यक्ष की नियुक्ति करवाकर विधायक जी संगठनात्मक डेमेज करने में जुटे हुए हैं. खास बात यह है कि विधायक और अध्यक्ष के परिवार के रिश्ते काफी मधुर रहे हैं.

खूबसूरती दिखाओ, राशि नहीं

भोपाल में हुए बड़े आयोजन के लिए शहर को चमकाने में अफसरों ने काफी मेहनत की. बारी जब श्रेय लेने की आई को प्रमुख अफसर महोदय खुलकर सामने आए. शहर को कैसे चमकाया गया, क्या-क्या किया गया. महोदय बार-बार और बारी-बारी से बखान करते दिखे. इसी बीच किसी ने सवाल पूछ लिया कि ये चमक-दमक कितनी राशि की है, तो महोदय ने यह सवाल ही दरकिनार कर दिया. बाद में अफसर महोदय करते हुए नजर अए कि खूबसूरती दिखाओ, राशि नहीं.

नए इंचार्ज से मिलने के लिए पहले पीए से मुलाकात!

एमपी कांग्रेस को नया इंचार्ज मिला है. जिम्मेदारी मिलने के बाद प्रदेश के समझने के लिए वो दौरा कर रहे है, लेकिन कार्यकर्ताओं को उनसे मिलना है तो पहले उनके पीए से मिलना पड़ता है. वो भी आईपेड वाले पीए साहब से. हुआ यूं की प्रदेश कांग्रेस दफ्तर में बैठक चल रही ही थी. बैठक से अचानक इंचार्ज साहब बाहर निकल आए. इसे देख वहां मौजूद एक कार्यकर्ता ने उनसे मिलने की इच्छा जताई तो नेताजी ने कहा दिया पहले इन से मिलिए, फिर मुलाकात होगी. अब कार्यकर्ता चिंता में आ गया. क्योंकि जिसे समय लिखवाना था वो खुद सब कुछ छोड़ इंचार्ज साहब के पीछे चल दिया.

Lalluram.Com के व्हाट्सएप चैनल को Follow करना न भूलें.
https://whatsapp.com/channel/0029Va9ikmL6RGJ8hkYEFC2H



Source link

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *